उम्रदराज कांग्रेसियों को नसीहत

इंदौर। अमूमन कांग्रेस की बैठकों में वक्ता का भाषण कम सुना जाता है और नारेबाजी ज्यादा की जाती है यह परंपरा है और इस परंपरा का निर्वहन कांग्रेस प्रदेश प्रभारी दीपक बावरिया के गांधी भवन में भाषण के दौरान भी हुआ। संपूर्ण भाषण के दौरान कार्यकर्ता लगातार नारे भी लगाते रहे वहीं वरिष्ठ नेता अपने आप को मंच पर स्थापित करने के लिए जद्दोजहद करते रहे।
दीपक बावरिया ने वैसे तो इस बात के इशारे जरुर किए कि शहर में जो कांग्रेसी उम्रदराज हो चुके हैं वे अब समझ जाएं कि क्या होने वाला है। उन्होंने जैसे ही कहा कि उम्रदराज कांग्रेसी जो चार-पांच बार हार चुके हैं वे अब समझ जाएं तो इस वाक्य को लेकर गांधी भवन में जैसे उत्साह की लहर ही दौड़ पड़ी और सभी कार्यकर्ता नारेबाजी करने लगे। इस नारेबाजी के बीच बावरिया क्या कह रहे हैं यह कोई कुछ सुनने को तैयार ही नहीं था। इस बीच मंच पर बैठे कई कांग्रेसी जिनमें अधिकांश बुजुर्ग थे उनके चेहरे लटक गए थे। वे यह समझ गए थे कि इशारा स्पष्ट है और जिस प्रकार से कांग्रेस में अब युवाओं को ज्यादा तरजीह दी जा रही है अब पुराने बुजुर्ग कांग्रेसी अपना पत्ता कटा हुआ ही समझें। वैसे मंच पर बैठे कांग्रेसी अपने लिए जगह ही ढूंढते रहे। संपूर्ण कार्यक्रम में युवाओं को तैयार रहने की बात जरुर निकल कर सामने आई जिसे लेकर कार्यकर्ताओं में उत्साह नजर आया। अब देखना यह है कि बावरिया को लेकर बावरे हुए युवा कांग्रेसियों में से कितनों का नाम टिकट के लिए चलता है बाकी तो कांग्रेस में ऐसा चलता ही रहता है।